गौरतलब है कि हाईकोर्ट के आदेश के बाद रेलवे की 78 एकड़ जमीन पर अतिक्रमण कर बनाए गए 4365 भवनों को ध्वस्त करने के आदेश दिए हैं। साथ ही प्रशासन व पुलिस से सहयोग करने के लिए कहा है।


हल्द्वानी के बहुचर्चित रेलवे अतिक्रमण हटाने के विरोध में बनभूलपुरा के हज़ारो लोगो ने किया शांतिपूर्ण सत्याग्रह —




आज हल्द्वानी में माननीय हाईकोर्ट के आदेश के बाद रेलवे की 78 एकड़ जमीन पर अतिक्रमण कर बनाए गए 4365 भवनों को ध्वस्त करने के आदेश जिसके पश्चात् लोगो का कहना है कि अगर हमारे घर उजाड़ दिए जाते हैं तो हम कहा जाएंगे, उनका कहना है पिछले कई दशकों से हजारों की संख्या में परिवार बसे हुए है लेकिन आज उन को उजाड़ने का काम किया जा रहा है स्कूल में पढ़ रहे हमारे बच्चों का भविष्य भी खतरे में आ जाएगा। लोगो का कहना है कि उजड़ने वाले लोगो में बच्चें, महिलाएं और बुजुर्ग भी काफी बड़ी संख्या में है, ऐसे हालात में वह लोग कहा अपने सिर कैसे को छुपाएंगे। आज भारी फोर्स तैनात किया गया है हजारों की संख्या में लोग बनभूलपुरा क्षेत्र में घरों से निकलकर धरना प्रदर्शन कर रहे हैं।
वही समाजवादी पार्टी के प्रदेश प्रमुख महासचिव शुऐब अहमद ने कहा
हमारे द्वारा हमेशा उच्च न्यायालय के निर्णय का सम्मान क्या है और भविष्य में भी हम उच्च न्यायालय हाई कोर्ट के फैसलों का सम्मान करते रहेंगे शुऐब अहमद का कहना है कि वर्तमान सरकार के द्वारा उच्च न्यायालय हाई कोर्ट को गुमराह किया गया है | जिसकी वजह से हाई कोर्ट ने रेलवे की भूमि से अतिक्रमण हटाने का निर्णय दिया गया है कड़ाके की ठंड में आज गरीब जनता सड़कों पर बैठने के लिए मजबूर है वही शुऐब का कहना है कि उनको सुप्रीम कोर्ट पर पूर्ण भरोसा है कि फैसला गरीब जनता की हक में ही आएगा यह भूमि रेलवे की नहीं है वहीं प्रदेश सरकार के द्वारा पल्ला झाड़ दिया गया है कि यह भूमि हमारी भी नहीं है वहीं शुऐब अहमद के द्वारा वर्तमान सरकार पर निशाना साधते हुए कहा यदि भूमि वर्तमान सरकार की नहीं है , तो क्यों इस क्षेत्र में इतने वार्ड बनाए गए इतने मेंबर बनाए गए वही सरकारी धन से यहां पर डेवलपमेंट भी के गए हैं तो अब रातों-रात यह भूमि रेलवे की कैसे हो गई वही उनके द्वारा कहा गया कि अभी तक रेलवे ने कोई भी ऐसा मानचित्र यानी कि नक्शा नहीं दिखाया है जिससे यह साबित होता है कि भूमि रेलवे की है यदि रेलवे के विकास के लिए चिन्हित स्थान भूमि पर जो भी भवन या मकान आते हैं पहले वर्तमान सरकार ऐसे लोगों को विस्थापित करने का प्रबंध करें
जब तक बसाने का कोई प्रबंध नहीं किया जाएगा तब तक कोई भी मकान तोड़ने नहीं दिया जाएगा
अभी मामला हाईकोर्ट में है उसके बावजूद भी हजारों मकान तोड़ने के आदेश दे दिए गए हैं लेकिन उनका यह भी कहना है कि हमको सुप्रीम कोर्ट पर पूरा भरोसा है
वही उनके द्वारा महानगर हल्द्वानी काठगोदाम के महापौर पर निशाना साधते हुए कहा कि कहां है आज हमारे शहर के महापौर , लोकसभा सांसद भी नदारद है वही उनका कहना है कि यह एक इंसानियत मानवता की लड़ाई है ना की किसी एक विशेष पार्टी या दल की लड़ाई है
वही उनके द्वारा सबसे अहम बात यह कि कहीं गई कि सरकार की जो मंशा है जनता को धर्म के नाम पर जाति के नाम पर तोड़ने की उसमें सरकार को कामयाब नहीं होने दिया जाएगा जनता एक साथ थी है और हमेशा साथ रहेगी और हम आखरी दम तक जनता के अधिकारों की लड़ाई लड़ते रहेंगे
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